राजधानी पटना में एक 15 वर्षीय मादा टाइगर की इलाज के दौरान सोमवार यानी कि 21 अगस्त 2023 को कार्डिक अरेस्ट (Death Due To Cardiac Arrest) से मौत हो गई. इसकी जानकारी खुद बिहार सरकार के पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग ने दी. मिली जानकारी के अनुसार, 1 अगस्त को इस बीमार बिल्ली को ‘वाल्मीकि टाइगर रिजर्व’ से ‘संजय गांधी बॉयलोजिकल पार्क’ उर्फ पटना जू में इलाज के लिए लाया गया था. बता दें, वाल्मीकि टाइगर रिजर्व बिहार का एकलौता नेशनल पार्क है जो पश्चिम चंपारण में स्थित है.
संबंधित विभाग के एडिशनल चीफ कंजर्वेटर और चीफ वाइल्डलाइफ वार्डन पीके गुप्ता ने कहा कि मेडिकल रिपोर्ट्स केे अनुसार यह मादा बाघ कार्डिक अरेस्ट से मरी थी. उन्होंने बताया कि यह बाघिन काफी दिनों से बीमार चल रही थी. मैसूर चिड़ियाघर (कर्नाटक) के डॉक्टरों समेत वरिष्ठ पशु चिकित्सकों की टीम उसके स्वास्थ्य पर कड़ी नजर रख रही थी. लेकिन तमाम कोशिशों के बाद भी उसेे बचाया नहीं जा सका और अंतत: 21 अगस्त को उसकी मृत्यु हो गई. इस मादा बाघ के आंत को उत्तर प्रदेश के बरेली स्थित आईवीआरआई (IVRI) में बीते शुक्रवार को भेजा गया. आगे की जांच चल रही है.
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